यहाँ भगवान विष्णु जी की प्रचलित आरती “ॐ जय जगदीश हरे” के लिरिक्स बताये है। जिसे आप हिंदी और इंग्लिश भाषा में पढ़ पाएंगे। साथ ही चाहे तो आरती की PDF File भी डाउनलोड कर सकते है।
Vishnu Ji Ki Aarti द्वारा 5 विशेष फायदे अवश्य प्राप्त होते है।
- भक्त को श्री विष्णु का आशीर्वाद मिलता है।
- व्यक्तित्व में सदगुणों का संचार बढ़ता है।
- आरती द्वारा जीवन के संकट दूर होते है।
- नकारात्मक ऊर्जा एंव ताकत दूर रहती है।
- भक्त जीवन में आद्यात्मिक प्रगति होती है।
विशेष : भगवान विष्णु को प्रसन्न करने के लिए गुरूवार का दिन शुभ माना जाता है। इस दिन पूरी श्रद्धा के साथ आपको विष्णु जी की पूजा करनी चाहिए।
Vishnu Ji Ki Aarti (ॐ जय जगदीश हरे)
आपकी सही सहायता के लिए यहाँ लिखित में “ॐ जय जगदीश हरे” आरती को हिंदी और इंग्लिश भाषा में दर्शाया है।
(1) ॐ जय जगदीश हरे आरती लिरिक्स
ॐ जय जगदीश हरे, स्वामी! जय जगदीश हरे।
भक्तजनों के संकट क्षण में दूर करे॥
जो ध्यावै फल पावै, दुख बिनसे मन का।
सुख-संपत्ति घर आवै, कष्ट मिटे तन का॥ ॐ जय…॥
मात-पिता तुम मेरे, शरण गहूं किसकी।
तुम बिन और न दूजा, आस करूं जिसकी॥ ॐ जय…॥
तुम पूरन परमात्मा, तुम अंतरयामी।
पारब्रह्म परेमश्वर, तुम सबके स्वामी॥ ॐ जय…॥
तुम करुणा के सागर तुम पालनकर्ता।
मैं मूरख खल कामी, कृपा करो भर्ता॥ ॐ जय…॥
तुम हो एक अगोचर, सबके प्राणपति।
किस विधि मिलूं दयामय! तुमको मैं कुमति॥ ॐ जय…॥
दीनबंधु दुखहर्ता, तुम ठाकुर मेरे।
अपने हाथ उठाओ, द्वार पड़ा तेरे॥ ॐ जय…॥
विषय विकार मिटाओ, पाप हरो देवा।
श्रद्धा-भक्ति बढ़ाओ, संतन की सेवा॥ ॐ जय…॥
तन-मन-धन और संपत्ति, सब कुछ है तेरा।
तेरा तुझको अर्पण क्या लागे मेरा॥ ॐ जय…॥
जगदीश्वरजी की आरती जो कोई नर गावे।
कहत शिवानंद स्वामी, मनवांछित फल पावे॥ ॐ जय…॥
(2) Om Jai Jagdish Hare Aarti Lyrics
Om Jai Jagadish Hare
Swami Jay Jagadish Hare
Bhakt janon ke sankat
Dasa Janon ke sankat
Kshan me door kar
Om Jai Jagadish Hare ||
Jo dhyave phal paave
Dhukh vinashe man ka
Swami dhukh vinashe man ka
Sukha sampati Ghar aave
Sukha sampati Ghar aave
Kashht mite tan ka
Om Jai Jagadish Hare ||
Mata pita tum mere
Sharan padun mai kis ki
Swami sharan padum mai kis ki
Tum bina aur na doojaa
Tum bina aur na doojaa
Asha karun mai kis ki
Om Jai Jagadish Hare ||
Tum pooran Paramatma
Tum Antaryaami
Swami Tum Antaryaami
Para brahma Parameshwara
Para brahma Parameshwara
Tum sab ke Swami
Om Jai Jagadish Hare ||
Tum karuna ke saagar
Tum palan karta
Swami Tum palan karta
Mai sevak tum swaami
Mai sevak tum swaami
Kripa karo bhartaa
Om Jai Jagadish Hare ||
Tum ho ek agochar
Sab ke prana pati
Swami sab ke prana pati
Kis vidhi miloon dayamaya
Kisi vidhi miloon dayamaya
Tum ko mai kumati
Om Jai Jagadish Hare ||
Deena bandhu dukh hartaa
Tum rakshak mere
Swami tum rakshak mere
Apane hast uthao
Apane hast uthao
Dwar khada mai tere
Om Jai Jagadish Hare ||
Vishaya vikar mithao
Paap haro deva
Swami paap haro deva
Shraddha bhakti badhao
Shraddha bhakti badhao
Santan ki seva
Om Jai Jagadish Hare ||
Tan man dhan sab kuch hai tera
Swami sab kuch hai tera
Tera tujh ko arpan
Tera tujh ko arpan
Kya laage mera
Om Jai Jagadish Hare ||
Om Jai Jagdish Hare Aarti PDF Download
एक बार आपने पीडीएफ डॉक्यूमेंट में Shri Vishnu Aarti “ॐ जय जगदीश हरे” को डाउनलोड कर लिया। तो बार-बार वेबसाइट पर आने की जरुरत नहीं। इस सहायता का फायदा डाउनलोड बटन से उठा सकते है।
PDF Name | Vishnu Aarti |
Total Pages | 1 HD Image |
PDF Size | 477 KB |
File Maker | HJC |
Location | Google Drive |
Provider | Sabsastaa |
ओम जय जगदीश हरे आरती का वीडियो
क्या आप विष्णु जी की आरती “ओम जय जगदीश हरे” का वीडियो देखना चाहते है। तो निचे बताया वीडियो देख लीजिये, जिसे ऑनलाइन सबसे ज्यादा देखा और पसंद किया गया है।
विष्णु जी की आरती से जुड़े महत्वपूर्ण तथ्य
भगवान विष्णु जी की पूजा आराधना में “ॐ जय जगदीश हरे” आरती काफी महत्वपूर्ण है। इसीलिए यहाँ इस आरती से जुड़े कुछ विशेष तथ्य बता रहे है।
- यह भगवान विष्णु को समर्पित एक लोकप्रिय आरती है।
- साल 1870 में पंडित श्रद्धा राम फिल्लौरी ने इस आरती को लिखा था।
- यह आरती हिंदू धर्म में भगवान विष्णु की पूजा-अर्चना का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है।
- इसे आमतौर पर संध्या अर्थात सूर्यास्त के समय गाया जाता है।
- आरती के दौरान दीपक जलाकर भगवान का आवाहन किया जाता है।
- यह शांत और भावपूर्ण आरती श्रद्धालुओं को भक्ति की अनुभूति कराती है।
आशा करता हु विष्णु जी की आरती सम्बंधित अच्छी जानकारी दे पाया हु। मिलते है अपनी नेक्स्ट पोस्ट में तब तक टेक केयर।